हिंदी न्यूज़न्यूज़इंडियाममता सरकार का बड़ा एक्शन! RG Kar के पूर्व प्रिंसिपल की गिरफ्तारी के बाद इस ‘करीबी’ पर गिरी गाज
Kolkata Rape Case: बिरुपाक्ष बिस्वास को ट्रांसफर करने का आदेश आरजी कर मेडिकल कॉलेज के पूर्व प्रिंसिपल संदीप घोष के सस्पेंड होने के तुरंत बाद आया है. हालांकि उन्हेंने इसे नियमित प्रक्रिया कहा है.
By : एबीपी लाइव | Edited By: Vikram Kumar | Updated at : 04 Sep 2024 08:51 PM (IST)
कोलकाता केस को लेकर ममता सरकार ने लिया एक्शन (फाइल फोटो)
Kolkata Doctor Rape Murder Case: कोलकाता में ट्रेनी डॉक्टर के साथ रेप और फिर मर्डर मामले को लेकर कांग्रेस और बीजेपी राज्य की ममता सरकार पर हमलावर है. इस बीच आरजी कर मेडिकल कॉलेज के पूर्व प्रिंसिपल संदीप घोष के करीबी को पश्चिम बंगाल सरकार ने तबादला कर दिया है.
बर्द्धमान मेडिकल कॉलेज और अस्पताल के डॉक्टर बिरुपाक्ष बिस्वास को मंगलवार (3 अगस्त 2024) को पश्चिम बंगाल स्वास्थ्य विभाग ने दक्षिण 24 परगना जिले के काकद्वीप उप-मंडल अस्पताल में ट्रांसफर कर दिया. डॉक्टर बिरुपाक्ष बिस्वास को 9 अगस्त 2024 को रेप-हत्या के बाद आरजी कर मेडिकल कॉलेज एंड हॉस्पीटल में भर्ती कराया गया था. कोलकाता और बर्द्धमान शहर के बीच लगभग 100 किलोमीटर से अधिक की दूरी है.
तबादले के बाद डॉ. बिस्वास क्या बोले?
तबादले के बाद बिस्वास ने बुधवार (4 अगस्त 2024) को कहा कि यह एक नियमित प्रक्रिया है. उन्होंने कहा, “मेरे पोस्ट-ग्रेजुएशन के अंकों के आधार पर छह महीने पहले मेरिट-आधारित काउंसलिंग की गई थी. मुझे उत्तर बंगाल में कूच बिहार या जलपाईगुड़ी या दक्षिण बंगाल में काकद्वीप जाने का विकल्प दिया गया था. मैं उत्तर बंगाल नहीं जाना चाहता था और इसलिए मैंने काकद्वीप को चुना.”
संदीप घोष के करीबी सहयोगी होने का आरोप
राज्य सरकार का यह आदेश आरजी कर मेडिकल कॉलेज के पूर्व प्रिंसिपल संदीप घोष के सस्पेंड होने के तुरंत बाद आया है, जिन्हें सीबीआई ने सोमवार (2 अगस्त 2024) की रात को आरजी कर हॉस्पिटल में वित्तीय अनियमितताओं के आरोप में गिरफ्तार किया था. सीबीआई ने कई दिनों की पूछताछ के बाद संदीप घोष को गिरफ्तार किया. इस दौरान पूर्व प्रिंसिपल को पॉलीग्राफ टेस्ट से भी गुजरना पड़ा है. पश्चिम बंगाल के स्वास्थ्य विभाग ने संदीप घोष के खिलाफ तब तक कोई कोई कर्रवाई नहीं की, जब तक कि उनकी गिरफ्तारी नहीं हो गई.
डॉक्टर बिरुपाक्ष बिस्वास पर संदीप घोष के करीबी सहयोगियों में से एक होने का आरोप है. है. इतना ही नहीं 9 अगस्त से लगातार आंदोलन कर रहे डॉक्टरों और मेडिकल छात्रों ने उनके खिलाफ भी कार्रवाई की मांग की है. इंडियन मेडिकल एसोसिएशन (IMA) की पश्चिम बंगाल इकाई सहित अलग-अलग संगठनों के वरिष्ठ डॉक्टर्स ने आरोप लगाया था कि संदीप घोष कई सहयोगियों की मदद से स्वास्थ्य विभाग में रैकेट चला रहे थे, जिनमें बिस्वास भी एक थे.
आंदोलन के समय वायरल हुआ था ऑडियो क्लिप
कोलकाता घटना के बाद जब जूनियर डॉक्टर्स आंदोलन कर रहे थे तो समय एक ऑडियो वायरल हुई थी, जिसमें बिरुपाक्ष बिस्वास को लास्ट ईयर के मेडिकल छात्र को धमकी देते हुए सुना गया था. वायरल ऑडियो में बिस्वास कह रहे थे कि अगर उनके आदेशों का पालन नहीं किया गया तो छात्रों को प्रमाण पत्र नहीं मिलेगा. बिस्वास ने उस समय मीडिया को बताया था कि वह फेक ऑडियो क्लिप था, जिसे एआई का इस्तेमाल कर बनाया गया था.
डॉक्टर बिरुपाक्ष बिस्वास ने यह स्वीकार किया है कि ट्रेन डॉक्टर की मौत के बारे में सुनने के बाद वह 9 अगस्त को आरजी कर मेडिकल कॉलेज एंड हॉस्पीटल गए थे, लेकिन उन्होंने दावा किया कि वह कभी भी क्राइम सीन या इमरजेंसी बिल्डिंग की तीसरी मंजिल पर पर नहीं गए थे.
Published at : 04 Sep 2024 08:51 PM (IST)
हिंदी समाचार, ब्रेकिंग न्यूज़ हिंदी में सबसे पहले पढ़ें ABP News पर। सबसे विश्वसनीय हिंदी न्यूज़ वेबसाइट एबीपी न्यूज़ लाइव पर पढ़ें बॉलीवुड, लाइफस्टाइल, न्यूज़ और खेल जगत, से जुड़ी ख़बरें Khelo khul ke, sab bhool ke – only on Games Live
ट्रेंडिंग न्यूज
टॉप हेडलाइंस
ममता सरकार का बड़ा एक्शन! RG Kar के पूर्व प्रिंसिपल की गिरफ्तारी के बाद इस ‘करीबी’ पर गिरी गाज
‘सोयाबीन का भाव दो और सदस्यता लो’, बीजेपी के अभियान पर दिग्विजय सिंह ने साधा निशाना
हिंदी में नहीं हो रही रिलीज, फिर भी 100 करोड़ की ओपनिंग ले सकती है विजय की ‘गोट’
फार्मा-FMCG स्टॉक्स में खरीदारी से निचले लेवल से बाजार हुआ रिकवर, सेंसेक्स 202 और निफ्टी 81 अंक गिरकर हुआ बंद
वीडियोज
फोटो गैलरी
ट्रेडिंग ओपीनियन
गुंजन मिश्रापर्यावरणविद्