नई दिल्ली : विदेश मंत्री एस जयशंकर ने पश्चिम एशिया में संघर्ष को ‘गहरी चिंता’ का विषय बताते हुए शनिवार को कहा कि वैश्वीकृत दुनिया में, कहीं भी होने वाले संघर्ष से हर जगह समस्याएं पैदा होती हैं। उन्होंने ‘आईसी सेंटर फॉर गवर्नेंस’ द्वारा आयोजित सरदार पटेल व्याख्यान देने के बाद एक प्रश्न के उत्तर में यह बात कही। जयशंकर की यह टिप्पणी इजराइल-हिजबुल्ला संघर्ष और इजराइल-हमास युद्ध में तेजी की पृष्ठभूमि में आई है।
हमें नुकसान हो रहा है : जयशंकर
उन्होंने कहा कि संघर्ष (पश्चिम एशिया में) तेज हुआ है। हमने आतंकवादी हमला देखा, फिर प्रतिक्रिया हुई, फिर हमने देखा कि गाजा में क्या हुआ, अब हम इसे लेबनान में देख रहे हैं, इजराइल और ईरान के बीच संघर्ष। लाल सागर में हूतियों की गोलीबारी, वास्तव में इससे हमें नुकसान हो रहा है। जयशंकर ने कहा कि ऐसा नहीं है कि संघर्ष में कोई तटस्थ रहता है और आपको लाभ होता है।
लेबनान पर हमले के बीच पीएम मोदी ने नेतन्याहू से फोन पर की बातचीत, जानें क्या कहा
पूरी दुनिया है चिंतित
उन्होंने कहा कि मालवहन खर्च बढ़ गया है, बीमा दरें बढ़ गई हैं, निर्यात, विदेशी व्यापार प्रभावित हो रहा है, तेल की कीमतें बढ़ गई हैं। ईरानी मिसाइल हमले के बाद बाजार में गिरावट आई। मंत्री ने कहा, ”संघर्षों का अवसरवादी तरीके से उपयोग किया जा सकता है, मैं इससे इनकार नहीं करता, लेकिन वैश्वीकृत दुनिया में जो इतनी जुड़ी हुई है, कहीं भी होने वाला संघर्ष हर जगह समस्याएं पैदा करता है। इससे किसी न किसी तरह की आपूर्ति प्रभावित होगी।’
रूस-यूक्रेन में शांति के लिए मध्यस्थता की तरफ भारत ने बढ़ाए कदम? विदेश मंत्री जयशंकर ने साफ कर दी तस्वीर
जयशंकर ने कहा कि भारत सहित पूरी दुनिया इसके बारे में चिंतित है, और हम यह देखने की कोशिश कर रहे हैं कि हम कहां बदलाव ला सकते हैं, और हम क्या कर सकते हैं।”